https://www.dainikjagruk.com/ahankar-se-manushya-apno-se-door-dashlakshan-mahaparv-sonipat
Top Stories
  1. मेयर राजीव जैन की माताजी शकुंतला देवी का निधन, 89 वर्ष की आयु में ली अंतिम सांस
  2. स्वर्णप्रस्थ संग्रहालय में 100 साल पुराना रहट बनेगा आकर्षण का केंद्र, जल्द करेंगे CM सैनी उद्घाटन
  3. गन्नौर शहर दिवाली पर होगा रोशन, चौक-चौराहों पर लगेगी शार्पे लाइट और रंग-बिरंगी झालरें
  4. जिला स्तरीय शिक्षक सम्मान समारोह: सम्पर्क फाउंडेशन ने किया स्टार टीचर्स, मेंटर्स और स्कूलों को सम्मानित
  5. नवंबर माह में सरसों तेल वितरण के जारी किए गए रेट
  6. 17 अक्टूबर को राई एजुकेशन सिटी में होने वाले कार्यक्रम की तैयारियों को लेकर उपायुक्त ने किया आयोजन स्थल का दौरा
  7. डॉ. भीमराव अंबेडकर नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी सोनीपत में आत्म-समझ और मूल्य-निर्माण पर कार्यशाला का आयोजन
  8. गांवों को मिली सड़क की सौगात | विधायक देवेंद्र कादियान ने नारियल फोड़कर किया शुभारंभ | @dainikjagruk
  9. खेल विश्वविद्यालय राई की बॉक्सर ऋतिका दहिया ने जीता स्वर्ण पदक, विश्व मुक्केबाज़ी कप 2025 के लिए चयन
  10. महर्षि वाल्मीकि जी की जयंती पर सहकारिता मंत्री डॉ. अरविंद शर्मा ने किया समाज के उत्थान का आह्वान

अहंकार से मनुष्य अपनों से दूर चला जाता है : जैन


सोनीपत, 29अगस्त (DAINIK JAGRUK):(kuldeep ranga)
श्री शांतिनाथ दिगंबर जैन मंदिर, मंडी सोनीपत में दशलक्षण महापर्व के दूसरे दिन उत्तम मार्दव धर्म के रूप में मनाया गया। इस पावन अवसर पर श्री जगदीश जैन परिवार और प्रेमचंद जैन परिवार ने शांति धारा कर पुण्यार्जन किया।

धर्मसभा को संबोधित करते हुए पंडित संजय शास्त्री जी ने कहा कि –
"जब पेड़ में फल आते हैं तो डालियां झुक जाती हैं। इसी प्रकार बाल्टी भी कुएं से पानी तभी भरकर लाती है, जब वह झुकती है। यही मार्दव धर्म का सार है।"

श्री राकेश जैन ने अपने विचार रखते हुए कहा कि –
"अहंकार का विपरीत मार्दव है। जब तक व्यक्ति मद में रहता है, तब तक उसे सत्य दिखाई नहीं देता। लोग रूप देखते हैं, हम दिल देखते हैं; लोग सपना देखते हैं, हम हकीकत देखते हैं।"

इसी क्रम में जयकुमार जैन और मुकेश जैन ने कहा कि –
"हम भक्तों में भगवान को देखते हैं। अहंकार व्यक्ति को झुकने नहीं देता और वह अकड़ में मुर्दे के समान पड़ा रहता है, जबकि ज्ञानी व्यक्ति अवसर मिलते ही विनम्र हो जाता है।"

रिंकू जैन और मोंटू जैन ने कौरवों का उदाहरण देते हुए कहा कि –
"संसार में कई लोग कसाई की तरह क्रूर बन जाते हैं। इसलिए किसी को भी अहंकार नहीं करना चाहिए।"

इस अवसर पर मधु जैन, शशि जैन, अनु जैन, संजना जैन, राकेश, सुरेश, अंशुल, अरुण, शुभम सहित अनेक श्रद्धालु उपस्थित रहे।

Comments

Leave Comments